भारतीय राजनीतिज्ञ राहुल गांधी, जिन्हें गुजरात के सूरत शहर की एक अदालत ने उनकी कथित ‘मोदी सरनेम’ टिप्पणी के लिए उनके खिलाफ दायर एक आपराधिक मानहानि के मामले में दोषी ठहराया था, को संसद सदस्य के रूप में हटा दिया गया है। उनकी अयोग्यता तत्काल प्रभाव से लागू होती है। जबकि सत्तारूढ़ भाजपा सरकार ने फैसले का समर्थन किया, विपक्षी कांग्रेस पार्टी ने कहा कि वह आदेश को चुनौती देने के लिए कानूनी रास्ता अपनाएगी।
अदालत ने भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की धारा 499 (मानहानि), 500 (मानहानि की सजा) के तहत 15,000 रुपये (183 डॉलर) का जुर्माना लगाते हुएराहुल गांधी को दो साल की जेल की सजा सुनाई। सजा को लेकर विपक्ष आज बैठक कर रहा है। कांग्रेस ने भी आज राष्ट्रीय राजधानी में बड़े पैमाने पर आंदोलन की योजना बनाई है।
राहुल गांधी की लोकसभा की संसद सदस्यता रद्द कर दी गई है। उन्हें अदालत द्वारा मानहानि के मामले में दो वर्ष की सजा के बाद लोकसभा की सदस्यता रद्द की गई। लोकसभा अध्यक्ष ने ये निर्णय लिया है। इसके बाद अब हाईकोर्ट या सुप्रीम कोर्ट द्वारा स्टे नही मिलने पर वो 6 वर्ष तक चुनाव नहीं लड़ सकेंगे। वो केरल के वायनाड से लोकसभा सदस्य थे। शुक्रवार को लोकसभा सचिवालय से पत्र जारी कर इस बात की जानकारी दी गई है।बता दें कि सुप्रीम कोर्ट द्वारा 2013 में सुनाए गए फैसले के मुताबिक कोई जनप्रतिनिधि जैसे विधायक या सांसद को दो साल या उससे अधिक सजा सुना जाती है तो उसकी सदस्यता निरस्त की जा सकती है। हालांकि सुप्रीम कोर्ट ने ये भी कहा था कि अगर वो व्यक्ति सजा के खिलाफ ऊपरी अदालत में अपील करता है तो ये नियम लागू नहीं होगा।
और इसके बाद कांग्रेस ने 5 बजे मीटिंग बुलाई मीटिंग में क्या तय होता है जानने के लिए न्यूज़ इंडिया एक्सपोज़ देखें |